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महाकुंभ संगम तट पर भगदड़, 14 से अधिक की मौत, प्रयागराज में श्रद्धालुओं की एंट्री रोकी, अखाड़ों ने किया अमृत स्नान रद्द

महाकुंभ संगम तट पर भगदड़, 14 से अधिक की  मौत, प्रयागराज में श्रद्धालुओं की एंट्री रोकी, अखाड़ों ने किया अमृत स्नान रद्द


प्रयागराज के संगम तट पर मंगलवार-बुधवार की रात करीब डेढ़ बजे भगदड़ मच गई। इसमें 14 से अधिक लोगों की मौत की खबर है। वही 50 से ज्यादा लोग घायल हैं। प्रशासन ने मौत या घायलों की संख्या को लेकर कोई जानकारी नहीं दी।
भगदड़ के बाद प्रशासन के अनुरोध पर सभी 13 अखाड़ों ने आज मौनी अमावस्या का अमृत स्नान रद्द कर दिया है। संगम नोज पर अधिक भीड़ के कारण यह फैसला किया गया है।
अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष रवींद्र पुरी ने कहा, "जो घटना हुई उससे हम बहुत दुखी हैं। हमारे साथ हजारों श्रद्धालु थे... जनहित में हमने फैसला किया कि अखाड़े आज स्नान में भाग नहीं लेंगे... मैं लोगों से अपील करता हूं कि वे आज के बजाय वसंत पंचमी पर स्नान के लिए आएं... यह घटना इसलिए हुई क्योंकि श्रद्धालु संगम घाट पहुंचना चाहते थे, इसके बजाय उन्हें जहां भी पवित्र गंगा दिखे, वहीं डुबकी लगा लेनी चाहिए... "

 पीएम मोदी और गृह मंत्री अमित शाह ने सीएम योगी से फोन पर घटना की जानकारी ली।
अफवाह के चलते संगम नोज पर भगदड़ मची। कुछ महिलाएं जमीन पर गिर गईं और लोग उन्हें कुचलते हुए निकल गए। हादसे के बाद 70 से ज्यादा एंबुलेंस संगम तट पर पहुंचीं। इनसे घायलों और मृतकों को अस्पताल ले जाया गया।
हादसे के बाद संगम तट पर NSG कमांडो ने मोर्चा संभाल लिया। संगम नोज इलाके में आम लोगों की एंट्री बंद कर दी गई। भीड़ और न बढ़े, इसलिए प्रयागराज शहर में भी श्रद्धालुओं के आने पर रोक लगा दी गई है। इसके लिए शहर की सीमा से सटे जिलों में प्रशासन को मुस्तैद कर दिया गया है।
अब यहां हालात काबू हैं।
महाकुंभ में आज मौनी अमावस्या का स्नान है, जिसके चलते करीब 5 करोड़ श्रद्धालुओं के शहर में मौजूद होने का अनुमान है।
सीएम योगी आदित्यनाथ  ने श्रद्धालुओं से अपील की है। उन्होंने कहा- मां गंगा के जो जिस घाट के समीप है, वहीं करे स्नान, संगम नोज की ओर जाने का प्रयास न करें।प्रशासन के निर्देशन का अनुपालन करें। व्यवस्था बनाने में सहयोग करें। किसी भी अफवाह पर ध्यान न दे।

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